Wednesday, August 8, 2012

देशी राजमाता को गुस्सा आया


अपने गुप्त प्रकार के रोग का विदेश में निदान करवाने वाली देशी राजमाता जी को आज देश के सबसे बड़े मछलीघर में गुस्सा आ गया .....राजमाता जी को हमेशा अपने घर में चापलूसी के मक्खन से लिपटी हुई चिकनी चुपड़ी बातें सुनने की आदत है ... लेकिन आज गलती से पहुँच गयी मछलीघर ... बस क्या था किसी ने कुछ ऐसी बात कह दी जो राजमाता जी को पसंद नहीं था ...... अब होना क्या था ... राजमाता जी ने अपने मुलाजिमो से कह किया उठो और शुरू हो जाओ .....साथ ही साथ मछलीघर की संचालिका को भी अपना "कर्तव्य" याद आ गया और मछलीघर की भावना के "कद्र" के नाम पर बयान को कार्यवाही से हटा दिया ... इस पुरे प्रकरण पर हमारे देश की इमानदार और जनता के प्रति उत्तरदायित्व का निर्वहन करने के लिए "उत्तरदायी" कैमरे वाली मिडिया ने कहा ..."राजमाता जी का यह रूप देश की जनता ने आज पहली बार देखा है"..... बिलकुल सही मिडिया वाले देवतागण ...... आज से पहले राजमाता जी के अहंकार से हमारे देश की जनता रु-बी-रु नहीं हुई थी जय हो पिज्जा वाली राजमाता का और लौलिपोप वाले युवराज का

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